
देहरादून – विश्व रक्तदाता दिवस के अवसर पर स्वामीराम हिमालयन हॉस्पिटल, जॉलीग्रांट में आयोजित विशेष समारोह में 155वीं बार रक्तदान करने वाले समाजसेवी डॉ. अनिल वर्मा को सम्मानित किया गया। यह अवसर न केवल अस्पताल के लिए, बल्कि पूरे उत्तराखंड के लिए गौरवपूर्ण रहा।
मुख्य अतिथियों की उपस्थिति में हुआ कार्यक्रम
इस सम्मान समारोह में हॉस्पिटल के निदेशक डॉ. हेम चंद्रा, ब्लड बैंक के विभागाध्यक्ष डॉ. दुष्यंत गौड़, प्रोफेसर डॉ. मनीष रतूड़ी और डॉ. यशस्वी धीमान प्रमुख रूप से उपस्थित रहे। सभी अतिथियों ने डॉ. अनिल वर्मा के इस निःस्वार्थ योगदान को समाज के लिए प्रेरणादायक बताया।
मानव सेवा की मिसाल बने डॉ. वर्मा
डॉ. अनिल वर्मा द्वारा 155वीं बार रक्तदान करना किसी उपलब्धि से कम नहीं है। उन्होंने अपने संबोधन में कहा कि रक्तदान उनके जीवन का हिस्सा बन चुका है और वह इसे समाज के प्रति अपनी जिम्मेदारी मानते हैं। उन्होंने युवाओं से अपील की कि वे आगे आएं और नियमित रक्तदान करें, ताकि किसी की जान बचाई जा सके।
डॉ. हेम चंद्रा ने की प्रशंसा
कार्यक्रम में बोलते हुए डॉ. हेम चंद्रा ने कहा, “डॉ. वर्मा जैसे व्यक्तित्व समाज की सच्ची सेवा का उदाहरण हैं। उनका योगदान हमारे लिए गौरव की बात है।” उन्होंने कहा कि रक्तदान एक महत्त्वपूर्ण सामाजिक दायित्व है, जिसे हर सक्षम व्यक्ति को निभाना चाहिए।
ब्लड बैंक विभागाध्यक्ष ने बताया रक्तदान का महत्व
ब्लड बैंक के विभागाध्यक्ष डॉ. दुष्यंत गौड़ ने कहा कि रक्तदान से कई जिंदगियां बचाई जा सकती हैं। उन्होंने यह भी बताया कि नियमित रक्तदान करने वालों को स्वयं भी स्वास्थ्य लाभ होते हैं, और यह एक सामाजिक जिम्मेदारी के रूप में देखा जाना चाहिए।
समारोह का समापन और संकल्प
समारोह के अंत में उपस्थित सभी डॉक्टरों, मेडिकल स्टाफ और आगंतुकों ने रक्तदान को लेकर जागरूकता फैलाने का संकल्प लिया। इस अवसर पर कई नए रक्तदाताओं ने भी पंजीकरण कर भविष्य में नियमित रक्तदान का वचन दिया।
डॉ. अनिल वर्मा का यह योगदान विश्व रक्तदाता दिवस पर समाज में सेवा, समर्पण और प्रेरणा का प्रतीक बनकर सामने आया है। उनकी सादगी और सेवा भावना ने सभी को गहराई से प्रभावित किया।